मामूली जलन वह है जो त्वचा की केवल ऊपरी परतों को नुकसान पहुँचाती है, जिससे वह क्षेत्र लाल और दर्दनाक हो जाता है। उन्हें अक्सर पहली डिग्री का जलना या सतही जलने के रूप में जाना जाता हैं। वे गर्म तरल पदार्थ या वस्तुओं, भाप या तेज धुप के संपर्क के कारण हो सकते हैं। यदि समय पर इलाज नहीं किया जाता है तो मामूली जलने से दर्दनाक छाले विकसित हो सकते हैं। कई प्राकृतिक उपचार है जो इसका इलाज करके दर्द को कम कर सकते हैं। मामूली जलन के कुछ दिनों के भीतर या तीन सप्ताह तक में आपको ठीक कर देते हैं।

यहाँ मामूली जलने के लिए 10 घरेलू उपचार दिए जा रहे हैं जिनका उपयोग करके आप ऐसी जलन की पीड़ा से राहत पा सकते हैं।

  1. जलने पर उपचार करें ठंडे पानी से - Cold Water for burns in Hindi
  2. जलने के उपचार में कच्चा आलू है उपयोगी - Raw Potato for burns in Hindi
  3. जलने का इलाज करने में एलो वेरा करेगा आपकी मदद - Aloe Vera for burns in Hindi
  4. जलने का घरेलू उपचार है नारियल तेल और नींबू का रस - Coconut oil and Lemon for burns in Hindi
  5. जले का घरेलू उपचार भी हैं गुणकारी शहद - Honey for burns in Hindi
  6. जलने का इलाज करें काली चाय का बैग - Black Tea Bags for burns in Hindi
  7. जलने के घरेलू उपाय हैं सिरका - Vinegar for burns in Hindi
  8. जलने का इलाज करें लैवेंडर तेल से - Lavender oil for burns in Hindi
  9. जलने के उपचार में ईसबगोल की पत्तियां है फ़ायदेमंद - Plantain Leaves for burns in Hindi
  10. जलने पर उपचार में लाभकारी है प्याज का रस - Onion Juice for burns in hindi
  11. इन बातों का भी रखें ध्यान

जलने के कुछ सेकंड के अंदर ही जलन वाले स्थान पर कई मिनट तक नल खोल कर पानी डालकर जलन को रोके। आप प्रभावित क्षेत्र पर एक ठंडा सेक भी रख सकते है। परेशानी से राहत के लिए हर कुछ घंटे में यह उपाय दोहराएँ। बर्फ का प्रयोग न करें क्योंकि यह रक्त के प्रवाह को सीमित कर सकती है, जो अंततः नाजुक ऊतकों को नुकसान पहुंचा सकती है।

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कच्चे आलू अपने एंटी-इर्रिटेटिंग और सुखदायक गुणों के कारण त्वचा के जलने का इलाज कर सकते हैं। इससे दर्द कम हो जाएगा और छाले होने की संभावना भी कम हो जाएगी। बस कच्चे आलू का टुकड़ा काट कर जली जगह पर रगड़े, सुनिश्चित करें कि आलू से रस उस क्षेत्र पर स्रावित हो रहा है। एक अन्य विकल्प कच्चे आलू को छील कर प्रभावित क्षेत्र पर लगभग 15 मिनट के लिए लगाना है। सर्वोत्तम परिणामों के लिए, जलने के तुरंत बाद इनमें से किसी भी उपचार का प्रयोग करें। (और पढ़े - आलू के फायदे और नुकसान)

एलो वेरा में अस्ट्रिन्जन्ट और ऊतक के इलाज वाले गुण हैं जो जलने के उपचार में मदद कर सकते हैं। एलो वेरा के पत्ते का एक छोटा टुकड़ा काट कर इसका ताजा जेल सीधे जली सतह पर लगाएँ। आप एक चम्मच एलो वेरा जेल और हल्दी का मिश्रण करके भी जली त्वचा पर लगा सकते हैं। यदि आपके पास एलो वेरा का पौधा नहीं है, तो आप एक ऐसी क्रीम भी लगा सकते हैं जिसमें एक घटक के रूप में एलो वेरा हो। (और पढ़े - एलोवेरा के फायदे और नुकसान)

नारियल का तेल और नींबू का रस दोनों जलने के इलाज में मदद कर सकते हैं, जब घाव ठंडा और सूख जाता है। नारियल का तेल विटामिन E और फैटी एसिड जैसे लॉरिक एसिड, मैरीस्टिक एसिड और कैप्रीलिक एसिड में समृद्ध है, जो कि एंटी-कवक, एंटीऑक्सिडेंट और एंटी-बैक्टीरियल लाभ प्रदान करता है। नींबू के रस में अम्लीय गुण होते हैं जो स्वाभाविक रूप से निशान को हल्का करते हैं।

नारियल के तेल में थोड़ा नींबू का रस निचोड़े तथा ठीक से मिक्स करें और इसे उपचार के लिए प्रभावित क्षेत्र पर लगाएँ। (और पढ़े - नारियल तेल के फायदे और नुकसान)

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शहद के एंटीबायोटिक और जलन कम करने वाले गुणों के कारण, यह प्रभावी रूप से घावों को असंक्रमित कर सकता है और जलन को ठीक करने में मदद करता है। यह हाईपरट्रोपिक निशान के विकास की संभावना भी कम कर देता है। गॉज़ पट्टी पर शहद को फैलाएं और जले स्थान पर सीधे रख दें। इस पट्टी को दिन में तीन से चार बार बदलें। (और पढ़े - शहद के फायदे और नुकसान)

काली चाय में टैनिक एसिड जलने वाली जगह से गर्मी निकाल सकता है और इस तरह दर्द कम हो सकता है। कुछ मिनट के लिए गर्म पानी से भरे घड़े में तीन चाय की थैली रखें। इस सलूशन को ठंडा होने दें और फिर उसमें एक साफ कपड़े को डुबो कर इसे प्रभावित क्षेत्र पर रखें। आवश्यकतानुसार पुनः ऐसा करें। आप जले स्थान पर सीधे ठंडी, गीली चाय की थैली भी रख सकते हैं। (और पढ़े - काली चाय के फायदे और नुकसान)

सिरका में अस्ट्रिन्जन्ट और एंटीसेप्टिक गुण मामूली जलने के उपचार और संक्रमण को रोकने में बहुत सहायक हो सकते हैं। पानी की एक समान मात्रा में सफेद सिरका या सेब का सिरका घोलें। इस सलूशन को जले क्षेत्र पर लगाकर उसे साफ करें। बाद में, जले क्षेत्र को घुले हुए सिरका में भिगोए गए एक कपड़े से ढंकें। हर दो से तीन घंटे में कपड़ा बदलें।

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लैवेंडर तेल/लैवेंडर ऑयल सभी आवश्यक तेलों में से सबसे बहुमुखी है। लैवेंडर तेल में एंटीसेप्टिक और दर्दनाक गुण दोनों हैं। तेल से जलन का निशान रहने का खतरा भी कम होगा।

दो कप पानी में लैवेंडर तेल की पांच बूंदें डालें। इसमें एक साफ कपड़े को भिगोयें और इसे कई बार सेकने के लिए उपयोग करें। आप सीधे लैवेंडर का तेल भी लगा सकते हैं, लेकिन आवश्यक तेलों का उपयोग बिना घोलें आमतौर पर अनुशंसित नहीं किया जाता हैं।

एक ओर विकल्प शहद के दो चम्मच में लैवेंडर तेल की कुछ बूंदों को मिलाकर प्रभावित क्षेत्र पर एक दिन में कुछ बार लगाना हो सकता है। (और पढ़े - लैवेंडर के तेल के फायदे और नुकसान)

पेट के उपचार के लिए ईसबगोल की पत्तियां एक लोकप्रिय उपाय है। ईसबगोल पत्ते सूजन कम करने और रोगाणुरोधी गुणों में समृद्ध हैं। पेस्ट बनाने के लिए कुछ ताजे ईसबगोल पत्ते क्रश करें। प्रभावित क्षेत्र पर इसे फैलाएं और एक सूती कपड़े से इसे कवर करें। जब यह सूख जाती है, तो एक ताजा पेस्ट दोबारा लगायें। (और पढ़े - ईसबगोल के फायदे और नुकसान)

प्याज के रस में सल्फर यौगिक और क्वेरसेटिन (एक औषधीय नमक) जैसे घटक होते हैं, जो दर्द से छुटकारा दिला सकते हैं, जलने का इलाज कर सकते हैं तथा फफोले की संभावना को भी कम कर सकते हैं। एक ताजा प्याज काटें और इसे जले क्षेत्र पर लगायें। केवल ताजा कटे प्याज का उपयोग करें, क्योंकि कुछ मिनटों के बाद प्याज अपने औषधीय गुण खो देते हैं। इस प्रक्रिया को दिन में कई बार दोहराएं। (और पढ़े - प्याज के फायदे)

  • आप प्रभावित क्षेत्र पर कुछ सफेद टूथपेस्ट या गैर-मिंथोल युक्त शेविंग क्रीम लगा सकते हैं।
  • तेल, मक्खन, पेट्रोलियम जेली या अंडे का सफेद भाग न लगायें, क्योंकि यह गर्मी को बाहर निकालने के बजाय इसे रोक सकता है, जिससे आपकी परेशानी बढ़ सकती हैं। कच्चे अंडे के सफेद हिस्से में बैक्टीरिया भी हो सकता है।
  • ऐसा माना जाता है कि बर्फ लगाने से राहत मिलती है, लेकिन आम तौर पर इसे अनुशंसित नहीं किया जाता क्योंकि यह उपचार प्रक्रिया को धीमा कर देता है। यदि घाव पर फफोले हो जाते हैं तो फफोले को फोड़ना नहीं है, क्योंकि इससे संक्रमण का खतरा बढ़ सकता है।
  • घाव पर चिपकने वाली ड्रेसिंग का उपयोग न करें।
  • जले क्षेत्र को किसी भी तरह की रगड़ से सुरक्षित रखें।
  • प्रभावित क्षेत्र को फिर से घायल या टैनिंग होने से बचायें।
  • ये उपचार केवल मामूली और पहली डिग्री जलने के लिए हैं।
  • गंभीर जलने के लिए, आपको चिकित्सकीय उपचार के लिए अच्छे हॉस्पिटल जाना होगा। इसी प्रकार बिजली से जलने के लिए या यदि कोई मामूली जलन है किन्तु त्वचा का बढ़ा क्षेत्र प्रभावित हो या संक्रमित हो तो भी अच्छे डॉक्टर से उपचार करवाएँ।
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